कुछ लोग है जो अपने पैरों पे खड़े रह सकते हैं। वे कोई चीज़ इसलिए करते हैं क्योंकि वे मानते…
भौतिक सुख सुविधा, तथाकथित आवश्यकताओं और आरामों के बारे में - चाहे वे जिस तरह के क्यों न हों -…
प्रेम केवल एक ही है - 'भागवत प्रेम' ; और उस 'प्रेम' के बिना कोई सृष्टि न होती। सब कुछ…
अब अपनी प्राण-सत्ता के द्वार पर यह नोटिस लगा दो : 'अब यहाँ किसी मिथ्यात्व का आना माना है।' और…
यदि हम अपने जीवन्त उदाहरण के द्वारा अपनी सिखायी बातों का सत्य बच्चे को न दिखा दें तो केवल अच्छी…
कई बार काम करते हुए मैं सोचा करता हूं कि आखिर इसका प्रयोजन क्या है? कृपया बतलाइये कि काम करते…
तुम जितना पाते हो उससे संतुष्ट रहने की कोशिश करो-क्योंकि यह ग्रहणशीलता का मामला है-लोग जितना ग्रहण कर सकते हैं…
जो होना चाहिये उसके आगे अब तक जो कुछ सोचा या प्राप्त किया गया है वह सामान्य, अति तुच्छ और…
बाहरी रंग-रूप से निर्णय न करो और लोग जो कहते हैं उस पर विश्वास न करो, क्योंकि ये दोनों चीज़ें…
सच्ची नम्रता यह जानने में है कि केवल परम चेतना, परम इच्छा का ही अस्तित्व है और "मैं" का अस्तित्व…