गुरु में विश्वास
आध्यात्मिक पथ-प्रदर्शक से पूरी तरह लाभ उठाने के लिए शिष्य को तीन शर्तों को निभाना होता है। पहली: उसे किसी भी विरोधी या किसी भी...
आध्यात्मिक पथ-प्रदर्शक से पूरी तरह लाभ उठाने के लिए शिष्य को तीन शर्तों को निभाना होता है। पहली: उसे किसी भी विरोधी या किसी भी...
जीवन की सभी परिस्थितियों की व्यवस्था हमें यह सिखाने के लिए की गयी है कि मन से परे, भागवत कृपा में विश्वास ही हमें सभी...
भगवान पर श्रद्धा रखने और भरोसा करनें में क्या अन्तर है ? जैसा कि श्रीअरविंद ने लिखा है, श्रद्धा भरोसे से अधिक, कही अधिक पूर्ण...
बाहरी रंग-रूप से निर्णय न करो और लोग जो कहते हैं उस पर विश्वास न करो, क्योंकि ये दोनों चीज़ें भटकाने वाली हैं। लेकिन अगर...
मेरी निम्न प्रकृति वही मूर्खतापूर्ण चीज़ें करती चली जा रही है । केवल आप ही उसे बदल सकती है। ‘आपकी ‘ क्या शर्तें है ?...
भगवती माँ की और कैसे खुला जाये ? शांत मन में श्रद्धा और समर्पण द्वारा । संदर्भ : माताजी के विषय में
माताजी की शक्ति शरीर में पूर्ण रूप से कार्य करे इसके लिये यह आवश्यक है कि केवल मन में ही नहीं स्वयं शरीर में भी...
आत्मविश्वास से और भगवान पर श्रद्धा से भरी हंसी दुश्मन को सबसे अधिक तहस-नहस कर देने वाली शक्ति है – वह शत्रु के मोर्चे को...
“श्रद्धा के साथ जो कोई भक्त मेरे जिस किसी रूप को पूजना चाहता है, मैं उसकी वही श्रद्धा उसमें अचल-अटल बना देता हूँ। ” वह...
श्रद्धा, भगवान् के ऊपर निर्भरता, भागवत शक्ति के प्रति आत्म-समर्पण और आत्मदान-ये सब आवश्यक और अनिवार्य हैं। परन्तु भगवान् के ऊपर निर्भर रहने के बहाने...