श्रीअरविंद का कार्य
मैं श्रीअरविंद से मिलने के लिए भारत आयी। मैं श्रीअरविंद के साथ रहने के लिए भारत में रही। जब उन्होंने अपना शरीर त्याग, तब भी...
मैं श्रीअरविंद से मिलने के लिए भारत आयी। मैं श्रीअरविंद के साथ रहने के लिए भारत में रही। जब उन्होंने अपना शरीर त्याग, तब भी...
सम्भ्वन की शाश्वतता में प्रत्येक अवतार एक अधिक पूर्ण सिद्धि का उद्घोषक और अग्रदूत होता है। फिर भी लोगों में हमेशा यह वृत्ति रहती है...
बाहरी रंग-रूप से निर्णय न करो और लोग जो कहते हैं उस पर विश्वास न करो, क्योंकि ये दोनों चीज़ें भटकाने वाली हैं। लेकिन अगर...
श्रीअरविन्द सूक्ष्म भौतिक जगत् में हैं, अगर तुम यह जानते हो कि वहां कैसे जाया जाये, तो तुम उनसे नींद में मिल सकते हो ।...
यहाँ पर हमारा कोई धर्म नहीं है। हम धर्म के स्थान पर आध्यात्मिक जीवन को रखते हैं जो एक ही साथ अधिक सच्चा , अधिक...
बाहरी रंग-रूप से निर्णय न करो और लोग जो कहते हैं उस पर विश्वास न करो, क्योंकि ये दोनों चीज़ें भटकाने वाली हैं। लेकिन अगर...
भगवान् तुम्हारी अभीप्सा के अनुसार तुम्हारे साथ हैं । स्वभावत:, इसका यह अर्थ नहीं है कि वे तुम्हारी बाह्य प्रकृति की सनकों के आगे झुकते...
केवल एक ही चीज़ है जिसके बारे में मुझे पूरा विश्वास है, और वह है, मैं कौन हूँ। श्रीअरविंद भी यह जानते थे और उन्होने इसकी...
मरने से पहले, मिथ्यात्व अपनी पूरी पेंग में उठता है । अभी तक मनुष्य केवल विध्वंस के पाठ को ही समझता है। क्या मनुष्य के...
जो लोग अपनी आजीविका के लिए तुम पर निर्भर हैं उनके साथ तुम्हें बहुत शिष्ट होना चाहिये। अगर तुम उनके साथ बुरा व्यवहार करो तो...